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ब्रह्मचारिणी माता की आरती | Maa Brahmacharini Mata Aarti PDF in Hindi
ब्रह्मचारिणी माता की आरती | Maa Brahmacharini Mata Aarti PDF Details<a href="https://pdffile.co.in/wp-content/uploads/pdf-thumbnails/2021/10/small/-----maa-brahmacharini-mata-aarti--490.jpg">ब्रह्मचारिणी माता की आरती | Maa Brahmacharini Mata Aarti</a>PDF Name<b>ब्रह्मचारिणी माता की आरती | Maa Brahmacharini Mata Aarti PDF</b>No. of Pages<b>4</b>PDF Size<b>0.39 MB</b>Language<b>Hindi</b>Category<a href="https://pdffile.co.in/category/religion-spirituality/">Religion & Spirituality</a>Available at<b>eBookmela</b>Download LinkAvailable <a href="https://s.w.org/images/core/emoji/13.1.0/72x72/2714.png"></a>Downloads26
ब्रह्मचारिणी माता की आरती | Maa Brahmacharini Mata Aarti Hindi PDF Summaryनवरात्रि महोत्सव के दूसरे दिन ब्रह्मचारिणी माँ की पूजा-अर्चना की जाती है। ब्रह्म का अर्थ है तपस्या और चारिणी यानी आचरण करने वाली। इस प्रकार ब्रह्मचारिणी का अर्थ हुआ तप का आचरण करने वाली। इनके दाहिने हाथ में जप की माला एवं बाएँ हाथ में कमण्डल रहता है। ब्रह्मचारिणी माता का स्वभाव बहुत ही समय है तथा वह तप की मुद्रा में रहती हैं।ब्रह्मचारिणी देवी का पूजन करने के पश्चात् उनकी आरती करना भी बहुत ही आवश्यक है। नवरात्रि के समय पूजन करते समय देवी ब्रह्मचारिणी पूजन का विशेष महत्व हैं। जो व्यक्ति साधना के मार्ग पर चलना चाहते हैं, उन्हें देवी ब्रह्मचारिणी की पूजा अवश्य करनी चाहिए तथा माता की कृपा प्राप्त करते हुए साधना करनी चाहिए। माँ ब्रह्मचारिणी की आरती लिरिक्स / Maa Brahmacharini Aarti in Hindi Lyricsजय अम्बे ब्रह्मचारिणी माता।जय चतुरानन प्रिय सुख दाता॥ब्रह्मा जी के मन भाती हो।ज्ञान सभी को सिखलाती हो॥ब्रह्म मन्त्र है जाप तुम्हारा।जिसको जपे सरल संसारा॥जय गायत्री वेद की माता।जो जन जिस दिन तुम्हें ध्याता॥कमी कोई रहने ना पाए।कोई भी दुख सहने न पाए॥उसकी विरति रहे ठिकाने।जो तेरी महिमा को जाने॥रद्रक्षा की माला ले कर।जपे जो मन्त्र श्रद्धा दे कर॥आलस छोड़ करे गुणगाना।माँ तुम उसको सुख पहुँचाना॥ब्रह्मचारिणी तेरो नाम।पूर्ण करो सब मेरे काम॥भक्त तेरे चरणों का पुजारी।रखना लाज मेरी महतारी॥माँ ब्रह्मचारिणी बीज मंत्रॐ देवी ब्रह्मचारिण्यै नमः॥Om Devi Brahmacharinyai Namah॥माँ ब्रह्मचारिणी वैदिक मंत्रदधाना कर पद्माभ्यामक्षमाला कमण्डलू।
देवी प्रसीदतु मयि ब्रह्मचारिण्यनुत्तमा॥माँ ब्रह्मचारिणी स्तुतिया देवी सर्वभू‍तेषु माँ ब्रह्मचारिणी रूपेण संस्थिता।नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः॥<strong>You may also like :</strong><a href="https://pdffile.co.in/durga-saptashati-kavach-hindi/">दुर्गा सप्तशती कवच हिंदी में | Durga Saptashati Kavach PDF in Hindi</a><a href="https://pdffile.co.in/jai-ambe-gauri-aarti/">जय अम्बे गौरी आरती | Jai Ambe Gauri Aarti PDF in Hindi</a><a href="https://pdffile.co.in/kalash-sthapana-vidhi-hindi/">कलश स्थापना विधि मंत्र | Kalash Sthapana Vidhi PDF in Hindi</a><a href="https://pdffile.co.in/navratri-puja-vidhi-hindi/">नवरात्री पूजा विधि | Navratri Durga Puja Vidhi PDF in Hindi</a><a href="https://pdffile.co.in/maa-shailputri-aarti-pdf/">शैलपुत्री माता की आरती | Maa Shailputri Aarti PDF in Hindi</a><a href="https://pdffile.co.in/navratri-puja-samagri-list/">नवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri List PDF in Hindi</a><a href="https://pdffile.co.in/maa-shailputri-vrat-katha-hindi/">माता शैलपुत्री की कथा | Shailputri Mata Ki Vrat Katha PDF in Hindi</a><a href="https://pdffile.co.in/navratri-puja-samagri-list/">नवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri List PDF in Hindi</a><a href="https://pdffile.co.in/navratri-puja-vidhi/">नवरात्रि सम्पूर्ण पूजन विधि PDF</a><a href="https://pdffile.co.in/shri-durga-chalisa-hindi/">श्री दुर्गा चालीसा | Shri Durga Chalisa PDF in Hindi</a><a href="https://pdffile.co.in/108-names-of-maa-durga-hindi/">माँ दुर्गा के 108 नाम | 108 Names of Maa Durga PDF in Hindi</a><strong>You can download Maa Brahmacharini Aarti PDF by clicking on the following download button.</strong>#बरहमचरण #मत #क #आरत #Maa #Brahmacharini #Mata #Aarti #PDF #HindiThe post <a href="https://www.ebookmela.co.in/download/%e0%a4%ac%e0%a5%8d%e0%a4%b0%e0%a4%b9%e0%a5%8d%e0%a4%ae%e0%a4%9a%e0%a4%be%e0%a4%b0%e0%a4%bf%e0%a4%a3%e0%a5%80-%e0%a4%ae%e0%a4%be%e0%a4%a4%e0%a4%be-%e0%a4%95%e0%a5%80-%e0%a4%86%e0%a4%b0%e0%a4%a4">ब्रह्मचारिणी…
श्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga Stuti PDF in Hindi
श्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga Stuti PDF Detailsश्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga StutiPDF Nameश्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga Stuti PDFNo. of Pages12PDF Size11.3 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityDownload LinkAvailable Downloads26
श्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga Stuti Hindi PDF Summaryदोस्तों आज हम आपके लिए लेकर आये हैं Durga Stuti PDF in Hindi / श्री दुर्गा स्तुति पाठ PDF जिसके नियमित पाठ करने से माँ दुर्गा प्रसन्न होती हैं। हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार दुर्गा स्तुति का नियमित जप देवी दुर्गा को प्रसन्न करने और उनका आशीर्वाद प्राप्त करने का सबसे शक्तिशाली तरीका है। सर्वोत्तम परिणाम प्राप्त करने के लिए आपको सुबह स्नान करने के बाद और देवी दुर्गा की मूर्ति या तस्वीर के सामने दुर्गा स्तुति का पाठ करना चाहिए। इसके प्रभाव को अधिकतम करने के लिए आपको सबसे पहले दुर्गा स्तुति का मतलब हिंदी में समझना चाहिए। इस पोस्ट में दिए गए लिंक के द्वारा आप दुर्गा स्तुति इन हिंदी PDF / Chaman Ki Durga Stuti PDF उनलोड कर सकते हैं।दुर्गा स्तुति / Durga Stuti Book PDF के नियमित पाठ से मन को शांति मिलती है और आपके जीवन से सभी बुराई दूर होती है और आप स्वस्थ, धनवान और समृद्ध बनते हैं।दुर्गा स्तुति इन हिंदी PDF | Durga Stuti PDFजय भगवति देवि नमो वरदे जय पापविनाशिनि बहुफलदे।
जय शुम्भनिशुम्भकपालधरे प्रणमामि तु देवि नरार्तिहरे॥1॥जय चन्द्रदिवाकरनेत्रधरे जय पावकभूषितवक्त्रवरे।
जय भैरवदेहनिलीनपरे जय अन्धकदैत्यविशोषकरे॥2॥जय महिषविमर्दिनि शूलकरे जय लोकसमस्तकपापहरे।
जय देवि पितामहविष्णुनते जय भास्करशक्रशिरोवनते॥3॥जय षण्मुखसायुधईशनुते जय सागरगामिनि शम्भुनुते।
जय दु:खदरिद्रविनाशकरे जय पुत्रकलत्रविवृद्धिकरे॥4॥जय देवि समस्तशरीरधरे जय नाकविदर्शिनि दु:खहरे।
जय व्याधिविनाशिनि मोक्ष करे जय वाञ्छितदायिनि सिद्धिवरे॥5॥एतद्व्यासकृतं स्तोत्रं य: पठेन्नियत: शुचि:।
गृहे वा शुद्धभावेन प्रीता भगवती सदा॥6॥श्री दुर्गा स्तुति पाठ PDF | Durga Stuti PDF in Hindiमहर्षि व्यास द्वारा लिखा गया मां दुर्गा का यह स्त्रोत कल्याणकारी है। इसका पाठ करने से मनुष्य हर संकट से दूर रहता है मां भगवती की कृपा हमेशा बनी रहती है।नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक कर के आप Durga Stuti PDF in Hindi / श्री दुर्गा स्तुति पाठ PDF मुफ्त में डाउनलोड कर सकते है।#शर #दरग #सतत #पठ #Durga #Stuti #PDF #HindiThe post श्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga Stuti PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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विन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari Chalisa PDF in Hindi
विन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari Chalisa PDF Detailsविन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari ChalisaPDF Nameविन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari Chalisa PDFNo. of Pages2PDF Size0.06 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityAvailable ateksandesh.weebly.comDownload LinkAvailable Downloads26
विन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari Chalisa Hindi PDF Summaryदोस्तों आज हम आपके लिए लेकर आये हैं विन्धेश्वरी चालीसा PDF / Vindheshwari Chalisa PDF in Hindi हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार विंध्येश्वरी चालीसा का नियमित रूप से जाप देवी विंधेश्वरी को प्रसन्न करने और उनका आशीर्वाद पाने का सबसे शक्तिशाली तरीका है। सर्वोत्तम परिणाम प्राप्त करने के लिए आपको सुबह स्नान करने के बाद और देवी विंधेश्वरी की मूर्ति या तस्वीर के सामने विंध्येश्वरी चालीसा का पाठ करना चाहिए। इसके प्रभाव को अधिकतम करने के लिए आपको सबसे पहले विंध्येश्वरी चालीसा का मतलब हिंदी में समझना चाहिए।विन्धेश्वरी चालीसा का नियमित पाठ करने से मन को शांति मिलती है और आपके जीवन से सभी बुराईयाँ दूर रहती हैं और आप स्वस्थ, धनवान और समृद्ध बनते हैं।विन्धेश्वरी चालीसा PDF | Vindheshwari Chalisa PDF in Hindi||दोहा||नमो नमो विन्ध्येश्वरी, नमो नमो जगदम्ब।
सन्तजनों के काज में करती नहीं विलम्ब।||चौपाई ||जय जय विन्ध्याचल रानी, आदि शक्ति जग विदित भवानी।
सिंहवाहिनी जय जग माता, जय जय त्रिभुवन सुखदाता।कष्ट निवारिणी जय जग देवी, जय जय असुरासुर सेवी।
महिमा अमित अपार तुम्हारी, शेष सहस्र मुख वर्णत हारी।दीनन के दुख हरत भवानी, नहिं देख्यो तुम सम कोई दानी।
सब कर मनसा पुरवत माता, महिमा अमित जग विख्याता।जो जन ध्यान तुम्हारो लावे, सो तुरतहिं वांछित फल पावै।
तू ही वैष्णवी तू ही रुद्राणी, तू ही शारदा अरु ब्रह्माणी।रमा राधिका श्यामा काली, तू ही मातु सन्तन प्रतिपाली।
उमा माधवी चण्डी ज्वाला, बेगि मोहि पर होहु दयाला।तू ही हिंगलाज महारानी, तू ही शीतला अरु विज्ञानी।
दुर्गा दुर्ग विनाशिनी माता, तू ही लक्ष्मी जग सुख दाता।तू ही जाह्नवी अरु उत्राणी, हेमावती अम्बे निरवाणी।
अष्टभुजी वाराहिनी देवी, करत विष्णु शिव जाकर सेवा।चौसठ देवी कल्यानी, गौरी मंगला सब गुण खानी।
पाटन मुम्बा दन्त कुमारी, भद्रकाली सुन विनय हमारी।वज्र धारिणी शोक नाशिनी, आयु रक्षिणी विन्ध्यवासिनी।
जया और विजया बैताली, मातु संकटी अरु विकराली।नाम अनन्त तुम्हार भवानी, बरनै किमि मानुष अज्ञानी।
जापर कृपा मातु तव होई, तो वह करै चहै मन जोई।कृपा करहुं मोपर महारानी, सिद्ध करिए अब यह मम बानी।
जो नर धरै मात कर ध्याना, ताकर सदा होय कल्याना।विपति ताहि सपनेहु नहिं आवै, जो देवी का जाप करावै।
जो नर कहं ऋण होय अपारा, सो नर पाठ करै शतबारा।निश्चय ऋण मोचन होइ जाई, जो नर पाठ करै मन लाई।
अस्तुति जो नर पढ़ै पढ़ावै, या जग में सो अति सुख पावै।जाको व्याधि सतावे भाई, जाप करत सब दूर पराई।
जो नर अति बन्दी महं होई, बार हजार पाठ कर सोई।निश्चय बन्दी ते छुटि जाई, सत्य वचन मम मानहुं भाई।
जा पर जो कछु संकट होई, निश्चय देविहिं सुमिरै सोई।जा कहं पुत्र होय नहिं भाई, सो नर या विधि करे उपाई।
पांच वर्ष सो पाठ करावै, नौरातन में विप्र जिमावै।निश्चय होहिं प्रसन्न भवानी, पुत्र देहिं ताकहं गुण खानी।
ध्वजा नारियल आनि चढ़ावै, विधि समेत पूजन करवावै।नित्य प्रति पाठ करै मन लाई, प्रेम सहित नहिं आन उपाई।
यह श्री विन्ध्याचल चालीसा, रंक पढ़त होवे अवनीसा।यह जनि अचरज मानहुं भाई, कृपा दृष्टि तापर होइ जाई।
जय जय जय जग मातु भवानी, कृपा करहुं मोहिं पर जन जानी।नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक कर के आप विन्धेश्वरी चालीसा PDF / Vindheshwari Chalisa PDF in Hindi मुफ्त में डाउनलोड कर सकते है।#वनधशवर #चलस #Vindhyeshvari #Chalisa #PDF #HindiThe post विन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari Chalisa PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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विन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari Chalisa PDF in Hindi
विन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari Chalisa PDF Details<a href="https://pdffile.co.in/wp-content/uploads/pdf-thumbnails/2021/05/small/vindhyeshvari-chalisa-561.jpg">विन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari Chalisa</a>PDF Name<b>विन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari Chalisa PDF</b>No. of Pages<b>5</b>PDF Size<b>0.54 MB</b>Language<b>Hindi</b>Category<a href="https://pdffile.co.in/category/religion-spirituality/">Religion & Spirituality</a>Download LinkAvailable <a href="https://s.w.org/images/core/emoji/13.1.0/72x72/2714.png"></a>Downloads26
विन्धेश्वरी चालीसा | Vindhyeshvari Chalisa Hindi PDF Summaryआज के इस लेख के माध्यम से हम आपको विन्धेश्वरी चालीसा PDF / Vindheshwari Chalisa PDF in Hindi प्रदान करेंगे। यह माँ विन्ध्येश्वरी का शक्तिशाली स्तोत्र पाठक को कई लाभ प्रदान करते है। माता के प्यारे भक्त इस मंत्र के द्वारा माता के सभी रूपों की पूजा व स्तुति करते हैं। यदि आप मां दुर्गा को जल्‍द प्रसन्‍न करना चाहते हैं, तो आप नवरात्र में दुर्गा चालीसा का पाठ करना चाहिए। इससे माँ का आशीर्वाद सदैव आपके परिवार पर बना रहेगा। शास्‍त्रों में भी चालीसा पाठ को मां की स्‍तुति के लिए सर्वोत्‍तम माना गया है। इस पोस्ट में दिए गए लिंक के द्वारा आप विन्धेश्वरी चालीसा इन हिंदी PDF / Vindheshwari Chalisa PDF in Hindi डाउनलोड कर सकते हैं।विन्धेश्वरी चालीसा इन हिंदी PDF | Vindhyeshvari Chalisa PDF in Hindi<strong>||दोहा||</strong>नमो नमो विन्ध्येश्वरी, नमो नमो जगदम्ब।
सन्तजनों के काज में करती नहीं विलम्ब।||<strong>चौपाई</strong> ||जय जय विन्ध्याचल रानी, आदि शक्ति जग विदित भवानी।
सिंहवाहिनी जय जग माता, जय जय त्रिभुवन सुखदाता।कष्ट निवारिणी जय जग देवी, जय जय असुरासुर सेवी।
महिमा अमित अपार तुम्हारी, शेष सहस्र मुख वर्णत हारी।दीनन के दुख हरत भवानी, नहिं देख्यो तुम सम कोई दानी।
सब कर मनसा पुरवत माता, महिमा अमित जग विख्याता।जो जन ध्यान तुम्हारो लावे, सो तुरतहिं वांछित फल पावै।
तू ही वैष्णवी तू ही रुद्राणी, तू ही शारदा अरु ब्रह्माणी।रमा राधिका श्यामा काली, तू ही मातु सन्तन प्रतिपाली।
उमा माधवी चण्डी ज्वाला, बेगि मोहि पर होहु दयाला।तू ही हिंगलाज महारानी, तू ही शीतला अरु विज्ञानी।
दुर्गा दुर्ग विनाशिनी माता, तू ही लक्ष्मी जग सुख दाता।तू ही जाह्नवी अरु उत्राणी, हेमावती अम्बे निरवाणी।
अष्टभुजी वाराहिनी देवी, करत विष्णु शिव जाकर सेवा।चौसठ देवी कल्यानी, गौरी मंगला सब गुण खानी।
पाटन मुम्बा दन्त कुमारी, भद्रकाली सुन विनय हमारी।वज्र धारिणी शोक नाशिनी, आयु रक्षिणी विन्ध्यवासिनी।
जया और विजया बैताली, मातु संकटी अरु विकराली।नाम अनन्त तुम्हार भवानी, बरनै किमि मानुष अज्ञानी।
जापर कृपा मातु तव होई, तो वह करै चहै मन जोई।कृपा करहुं मोपर महारानी, सिद्ध करिए अब यह मम बानी।
जो नर धरै मात कर ध्याना, ताकर सदा होय कल्याना।विपति ताहि सपनेहु नहिं आवै, जो देवी का जाप करावै।
जो नर कहं ऋण होय अपारा, सो नर पाठ करै शतबारा।निश्चय ऋण मोचन होइ जाई, जो नर पाठ करै मन लाई।
अस्तुति जो नर पढ़ै पढ़ावै, या जग में सो अति सुख पावै।जाको व्याधि सतावे भाई, जाप करत सब दूर पराई।
जो नर अति बन्दी महं होई, बार हजार पाठ कर सोई।निश्चय बन्दी ते छुटि जाई, सत्य वचन मम मानहुं भाई।
जा पर जो कछु संकट होई, निश्चय देविहिं सुमिरै सोई।जा कहं पुत्र होय नहिं भाई, सो नर या विधि करे उपाई।
पांच वर्ष सो पाठ करावै, नौरातन में विप्र जिमावै।निश्चय होहिं प्रसन्न भवानी, पुत्र देहिं ताकहं गुण खानी।
ध्वजा नारियल आनि चढ़ावै, विधि समेत पूजन करवावै।नित्य प्रति पाठ करै मन लाई, प्रेम सहित नहिं आन उपाई।
यह श्री विन्ध्याचल चालीसा, रंक पढ़त होवे अवनीसा।यह जनि अचरज मानहुं भाई, कृपा दृष्टि तापर होइ जाई।
जय जय जय जग मातु भवानी, कृपा करहुं मोहिं पर जन जानी।विन्धेश्वरी चालीसा के लाभमाँ की इस चालीसा का सबसे अधिक लाभ प्राप्त करने के लिए आपको सुबह में इसके जाप करने चाहिए| सुबह में उठकर अपनी दैनिक क्रिया को करने के बाद फोटो या मूर्ती के सामने दीप जला कर पूजा करनी चाहिए| इससे संतान सुख की कमी, धन सम्बन्धित समस्या, जैसी परेशानी दूर होती है| और न को शांति की प्राप्ति होती है।<strong>नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक कर के आप विन्धेश्वरी चालीसा PDF / Vindheshwari Chalisa PDF in Hindi मुफ्त में डाउनलोड कर सकते है।</strong>#वनधशवर #चलस #Vindhyeshvari #Chalisa #PDF #HindiThe post <a href="https://www.ebookmela.co.in/download/%e0%a4%b5%e0%a4%bf%e0%a4%a8%e0%a5%8d%e0%a4%a7%e0%a5%87%e0%a4%b6%e0%a5%8d%e0%a4%b5%e0%a4%b0%e0%a5%80-%e0%a4%9a%e0%a4%be%e0%a4%b2%e0%a5%80%e0%a4%b8%e0%a4%be
श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली | Durga Ashtottara Shatanamavali PDF in Hindi
श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली | Durga Ashtottara Shatanamavali PDF Details<a href="https://pdffile.co.in/wp-content/uploads/pdf-thumbnails/2021/10/small/durga-ashtottara-shatanamavali-815.jpg">श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली | Durga Ashtottara Shatanamavali</a>PDF Name<b>श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली | Durga Ashtottara Shatanamavali PDF</b>No. of Pages<b>4</b>PDF Size<b>0.07 MB</b>Language<b>Hindi</b>Category<a href="https://pdffile.co.in/category/religion-spirituality/">Religion & Spirituality</a>Download LinkAvailable <a href="https://s.w.org/images/core/emoji/13.1.0/72x72/2714.png"></a>Downloads26
श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली | Durga Ashtottara Shatanamavali Hindi PDF Summaryदोस्तों आज हम आपके लिए लेकर आये हैं Durga Ashtottara Shatanamavali PDF in Hindi / श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली PDF जिसमे आपको माँ दुर्गा के सारे नाम पढ़ने को मिलेंगे। हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार दुर्गा अष्टोत्तर सता नामावली का नियमित जप देवी दुर्गा को प्रसन्न करने और उनका आशीर्वाद प्राप्त करने का सबसे शक्तिशाली तरीका है। सर्वोत्तम परिणाम प्राप्त करने के लिए आपको देवी दुर्गा की मूर्ति या तस्वीर के सामने स्नान करने के बाद सुबह जल्दी दुर्गा अष्टोत्तर सता नामावली का पाठ करना चाहिए। इसके प्रभाव को अधिकतम करने के लिए आपको सबसे पहले दुर्गा अष्टोत्तर सता नामावली का मतलब हिंदी में समझना चाहिए।दुर्गा अष्टोत्तर सता नामावली का नियमित पाठ करने से मन को शांति मिलती है और आपके जीवन से सभी बुराई दूर होती है और आप स्वस्थ, धनवान और समृद्ध बनते हैं।श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली PDF | Durga Ashtottara Shatanamavali PDF in Hindiॐ दुर्गायै नमः
ॐ शिवायै नमः
ॐ महालक्ष्म्यै नमः
ॐ महागौर्यै नमः
ॐ चण्डिकायै नमः
ॐ सर्वज्ञायै नमः
ॐ सर्वालोकेश्यै नमः
ॐ सर्वकर्म फलप्रदायै नमः
ॐ सर्वतीर्ध मयायै नमः
ॐ पुण्यायै नमः ॥10॥
ॐ देव योनये नमः
ॐ अयोनिजायै नमः
ॐ भूमिजायै नमः
ॐ निर्गुणायै नमः
ॐ आधारशक्त्यै नमः
ॐ अनीश्वर्यै नमः
ॐ निर्गुणायै नमः
ॐ निरहङ्कारायै नमः
ॐ सर्वगर्वविमर्दिन्यै नमः
ॐ सर्वलोकप्रियायै नमः ॥20॥
ॐ वाण्यै नमः
ॐ सर्वविध्यादि देवतायै नमः
ॐ पार्वत्यै नमः
ॐ देवमात्रे नमः
ॐ वनीश्यै नमः
ॐ विन्ध्य वासिन्यै नमः
ॐ तेजोवत्यै नमः
ॐ महामात्रे नमः
ॐ कोटिसूर्य समप्रभायै नमः
ॐ देवतायै नमः ॥30॥
ॐ वह्निरूपायै नमः
ॐ सतेजसे नमः
ॐ वर्णरूपिण्यै नमः
ॐ गुणाश्रयायै नमः
ॐ गुणमध्यायै नमः
ॐ गुणत्रयविवर्जितायै नमः
ॐ कर्मज्ञान प्रदायै नमः
ॐ कान्तायै नमः
ॐ सर्वसंहार कारिण्यै नमः
ॐ धर्मज्ञानायै नमः ॥40॥
ॐ धर्मनिष्टायै नमः
ॐ सर्वकर्मविवर्जितायै नमः
ॐ कामाक्ष्यै नमः
ॐ कामासंहन्त्र्यै नमः
ॐ कामक्रोध विवर्जितायै नमः
ॐ शाङ्कर्यै नमः
ॐ शाम्भव्यै नमः
ॐ शान्तायै नमः
ॐ चन्द्रसुर्याग्निलोचनायै नमः
ॐ सुजयायै नमः ॥50॥
ॐ जयायै नमः
ॐ भूमिष्ठायै नमः
ॐ जाह्नव्यै नमः
ॐ जनपूजितायै नमः
ॐ शास्त्रायै नमः
ॐ शास्त्रमयायै नमः
ॐ नित्यायै नमः
ॐ शुभायै नमः
ॐ चन्द्रार्धमस्तकायै नमः
ॐ भारत्यै नमः ॥60॥
ॐ भ्रामर्यै नमः
ॐ कल्पायै नमः
ॐ कराल्यै नमः
ॐ कृष्ण पिङ्गलायै नमः
ॐ ब्राह्म्यै नमः
ॐ नारायण्यै नमः
ॐ रौद्र्यै नमः
ॐ चन्द्रामृत परिवृतायै नमः
ॐ ज्येष्ठायै नमः
ॐ इन्दिरायै नमः ॥70॥
ॐ महामायायै नमः
ॐ जगत्सृष्ट्याधिकारिण्यै नमः
ॐ ब्रह्माण्ड कोटि संस्थानायै नमः
ॐ कामिन्यै नमः
ॐ कमलालयायै नमः
ॐ कात्यायन्यै नमः
ॐ कलातीतायै नमः
ॐ कालसंहारकारिण्यै नमः
ॐ योगानिष्ठायै नमः
ॐ योगिगम्यायै नमः ॥80॥
ॐ योगध्येयायै नमः
ॐ तपस्विन्यै नमः
ॐ ज्ञानरूपायै नमः
ॐ निराकारायै नमः
ॐ भक्ताभीष्ट फलप्रदायै नमः
ॐ भूतात्मिकायै नमः
ॐ भूतमात्रे नमः
ॐ भूतेश्यै नमः
ॐ भूतधारिण्यै नमः
ॐ स्वधानारी मध्यगतायै नमः ॥90॥
ॐ षडाधाराधि वर्धिन्यै नमः
ॐ मोहितायै नमः
ॐ अंशुभवायै नमः
ॐ शुभ्रायै नमः
ॐ सूक्ष्मायै नमः
ॐ मात्रायै नमः
ॐ निरालसायै नमः
ॐ निमग्नायै नमः
ॐ नीलसङ्काशायै नमः
ॐ नित्यानन्दिन्यै नमः ॥100॥
ॐ हरायै नमः
ॐ परायै नमः
ॐ सर्वज्ञानप्रदायै नमः
ॐ अनन्तायै नमः
ॐ सत्यायै नमः
ॐ दुर्लभ रूपिण्यै नमः
ॐ सरस्वत्यै नमः
ॐ सर्वगतायै नमः
ॐ सर्वाभीष्टप्रदायिन्यै नमः ॥ 108 ॥<strong>नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक कर के आप Durga Ashtottara Shatanamavali PDF in Hindi / श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली PDF मुफ्त में डाउनलोड कर सकते है।</strong>#शर #दरग #अषटततर #शतनमवल #Durga #Ashtottara #Shatanamavali #PDF #HindiThe post <a href="https://www.ebookmela.co.in/download/%e0%a4%b6%e0%a5%8d%e0%a4%b0%e0%a5%80-%e0%a4%a6%e0%a5%81%e0%a4%b0%e0%a5%8d%e0%a4%97%e0%a4%be-%e0%
शैलपुत्री माता की आरती | Shailputri Mata Aarti PDF in Hindi
शैलपुत्री माता की आरती | Shailputri Mata Aarti PDF Detailsशैलपुत्री माता की आरती | Shailputri Mata AartiPDF Nameशैलपुत्री माता की आरती | Shailputri Mata Aarti PDFNo. of Pages4PDF Size0.72 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityAvailable ateBookmelaDownload LinkAvailable Downloads26
शैलपुत्री माता की आरती | Shailputri Mata Aarti Hindi PDF Summaryदोस्तों आज हम आपके लिए लेकर आये हैं शैलपुत्री माता की आरती PDF / Shailputri Mata Aarti PDF नवरात्रि के प्रथम दिन माँ शैलपुत्री की पूजा आराधना की जाती है। इनके पिता का नाम पर्वतराज हिमालय है। पर्वतराज हिमलाय जी की पुत्री होने के कारण ही इन्हें शैलपुत्री माता कहा जाता है। देवी शैलपुत्री का वाहन वृषभ अथवा बैल है। माता के दाहिने हाथ में त्रिशूल तथा बाएँ हाथ में कमल-पुष्प सुशोभित है। इस पोस्ट में दिए गए लिंक के द्वारा आप शैलपुत्री माता आरती PDF | Shailputri Aarti Lyrics in Hindi PDF डाउनलोड कर सकते हैं।शैलपुत्री माता ने अपने पूर्व जन्म में प्रजापति दक्ष की कन्या के जन्म लिया था, तब इनका एक नाम ‘सती’ भी था। इनका विवाह भगवान भोलेनाथ शंकर जी से हुआ था। देवी शैलपुत्री के पूजन से नवदुर्गा महोत्सव का आरम्भ होता है। अतः इनकी पूजा विधि – विधान से करनी चाहिए।शैलपुत्री माता की आरती PDF | Shailputri Aarti Lyrics in Hindi PDFशैलपुत्री माँ बैल असवार।करें देवता जय जय कार॥शिव-शंकर की प्रिय भवानी।तेरी महिमा किसी ने न जानी॥पार्वती तू उमा कहलावें।जो तुझे सुमिरे सो सुख पावें॥रिद्धि सिद्धि परवान करें तू।दया करें धनवान करें तू॥सोमवार को शिव संग प्यारी।आरती जिसने तेरी उतारी॥उसकी सगरी आस पुजा दो।सगरे दुःख तकलीफ मिटा दो॥घी का सुन्दर दीप जला के।गोला गरी का भोग लगा के॥श्रद्धा भाव से मन्त्र जपायें।प्रेम सहित फिर शीश झुकायें॥जय गिरराज किशोरी अम्बे।शिव मुख चन्द्र चकोरी अम्बे॥मनोकामना पूर्ण कर दो।चमन सदा सुख सम्पत्ति भर दो॥शैलपुत्री माता की आरती कैसे करें?सर्वप्रथम नवदुर्गा पूजन हेतु घटस्थापना करें।अब देवी माँ का आवाहन करें।देवी माँ को पुष्प, चन्दन, अक्षत आदि अर्पित करें।तत्पश्चात देवी शैलपुत्री माँ की कथा पढ़ें।अब देवी शैलपुत्री की आरती करें।अंत में सपरिवार देवी माँ का आशीर्वाद ग्रहण करें।You may also like :कलश स्थापना विधि मंत्र | Kalash Sthapana Vidhi PDF in Hindiनवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri List PDF in HindiYou can download शैलपुत्री माता की आरती PDF / Shailputri Mata Aarti PDF by clicking on the following download button.#शलपतर #मत #क #आरत #Shailputri #Mata #Aarti #PDF #HindiThe post शैलपुत्री माता की आरती | Shailputri Mata Aarti PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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नवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri List PDF in Hindi
नवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri List PDF Detailsनवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri ListPDF Nameनवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri List PDFNo. of Pages5PDF Size0.75 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityAvailable ateBookmelaDownload LinkAvailable Downloads26
नवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri List Hindi PDF Summaryनवरात्री एक नौ दिनों तक चलने वाला उत्सव है। देवी दुर्गा की पूजा हेतु कुछ विशेष वस्तुओं की भी आवश्यकता होती है। इन वस्तुओं को पूजन सामग्री कहते हैं। यहाँ हमने नवरात्रि पूजन के दौरान उपयोग की जाने वाली विभिन्न वस्तुओं की सूची तैयार की है, जिसके माध्यम से आप सम्पूर्ण नवरात्रि पूजन कर सकते हैं।नवरात्रि में देवी दुर्गा की विधि – विधान से पूजा – अर्चना करने से व्यक्ति के जीवन में धन, धन्य तथा सम्पन्नता का आगमन होता है। देवी माँ की कृपा से व्यक्ति के बिगड़े काम भी बन जाते हैं तथा घर परिवार पर आने वाली विपत्तियाँ टल जाती हैं। आप भी अपने जीवन में सुख – शांति प्राप्त करने के लिए नवरात्रि पूजन अवश्य करें। नवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट 2021 PDFलाल रंग की गोटेदार चुनरीलाल रेशमी चूड़ियांसिन्दूरआम के पत्‍तेलाल वस्त्रलंबी बत्ती के लिए रुई या बत्तीधूपअगरबत्तीमाचिसचौकीचौकी के लिए लाल कपड़ानारियलदुर्गासप्‍तशती किताबकलशसाफ चावलकुमकुममौलीश्रृंगार का सामानदीपकघी/ तेलफूलफूलों का हारपानसुपारीलाल झंडालौंगइलायचीबताशे अथवा मिश्रीकपूरउपलेफल/मिठाईदेवी की प्रतिमा या फोटोकलावामेवेआम की लकड़ीजौधूपपांच मेवाघीलोबानगुगललौंगकमल गट्टासुपारीकपूरहवन कुंडनवरात्रि में क्या करें, क्या न करें ब्रह्मचर्य का पालन करना चाहिए। व्रत करने वाले को फलाहार ही करना चाहिए। इन दिनों व्रत रखने वाले को जमीन पर सोना चाहिए। व्रती को संकल्प लेना चाहिए कि हमेशा क्षमा, दया, उदारता का भाव रखेगा। इन दिनों व्रती को क्रोध, मोह, लोभ आदि दुष्प्रवृत्तियों का त्याग करना चाहिए। नारियल, नींबू, अनार, केला, मौसमी और कटहल आदि फल तथा अन्न का भोग लगाना चाहिए।देवी का आह्वान, पूजन, विसर्जन, पाठ आदि सब प्रातःकाल में शुभ होते हैं, अतः इन्हें इसी दौरान पूरा करना चाहिए।यदि घटस्थापना करने के बाद सूतक हो जाएं, तो कोई दोष नहीं होता, लेकिन अगर पहले हो जाएं, तो पूजा आदि न करें। Kalash Sthapana Muhurat 2021 Octoberआश्विन घटस्थापना बृहस्पतिवार, अक्टूबर 7, 2021 कोघटस्थापना मुहूर्त – 06:17 ए एम से 07:07 ए एमअवधि – 00 घण्टे 50 मिनट्सघटस्थापना अभिजित मुहूर्त – 11:45 ए एम से 12:32 पी एमअवधि – 00 घण्टे 47 मिनट्सYou can also like :कलश स्थापना विधि मंत्र | Kalash Sthapana Vidhi PDF in Hindiनवरात्री पूजा विधि | Navratri Durga Puja Vidhi PDF in Hindiशैलपुत्री माता की आरती | Maa Shailputri Aarti PDF in Hindiनवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri List PDF in Hindiमाता शैलपुत्री की कथा | Shailputri Mata Ki Vrat Katha PDF in HindiYou can download Navratri Puja Samagri List PDF by clicking on the following download button.#नवरतर #पजन #समगर #लसट #Navratri #Puja #Samagri #List #PDF #HindiThe post नवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri List PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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कलश स्थापना विधि मंत्र | Kalash Sthapana Vidhi PDF in Hindi
कलश स्थापना विधि मंत्र | Kalash Sthapana Vidhi PDF Details<a href="https://pdffile.co.in/wp-content/uploads/pdf-thumbnails/2021/10/small/-----kalash-sthapana-vidhi--993.jpg">कलश स्थापना विधि मंत्र | Kalash Sthapana Vidhi</a>PDF Name<b>कलश स्थापना विधि मंत्र | Kalash Sthapana Vidhi PDF</b>No. of Pages<b>4</b>PDF Size<b>0.77 MB</b>Language<b>Hindi</b>Category<a href="https://pdffile.co.in/category/religion-spirituality/">Religion & Spirituality</a>Available at<b>eBookmela</b>Download LinkAvailable <a href="https://s.w.org/images/core/emoji/13.1.0/72x72/2714.png"></a>Downloads26
कलश स्थापना विधि मंत्र | Kalash Sthapana Vidhi Hindi PDF Summaryघटस्थापना नवरात्रि के महत्वपूर्ण अनुष्ठानों में से एक है। घटस्थापना को कलशस्थापना के रूप में भी जाना जाता है। कलशस्थापना के साथ इस नौ दिनों के उत्सव का आरम्भ होता है। धार्मिक शास्त्रों में अमावस्या तथा रात के समय घटस्थापना वर्जित है। अतः इन दो अवसरों पर घटस्थापना नहीं करनी चाहिए।नवरात्री में दुर्गा पूजा के लिए कलश स्थापना करते समय पूर्ण स्वछता का ध्यान रखना चाहिए। सभी पूजन सामग्री शुद्ध होने चाहिए। कलश स्थापना पूजा के उपरांत उस कलश में देवी का निवास हो जाता है। अतः उस कलश को श्रद्धा भाव से देखना चाहिए तथा उसके पास कोई भी अशुद्ध व्यक्ति या वास्तु नहीं होनी चाहिए। कलश स्थापना विधि और मंत्र PDF 2021नवरात्रि के पहले दिन सुबह जल्दी उठकर नहाएं।स्वच्छ वस्त्र धारण करने के बाद कलश को पूजा घर में रखें।मिट्टी के घड़े के गले में पवित्र धागा बांधे।अब कलश को मिट्टी और अनाज के बीज की एक परत से भरें।कलश में पवित्र जल भरकर उसमें सुपारी, गंध, अक्षत, दूर्वा घास और सिक्के डालें।कलश के मुख पर एक नारियल रखें।कलश को आम के पत्तों से सजाएं।मंत्रों का जाप करें।कलश को फूल, फल, धूप और दीया अर्पित करें।देवी महात्म्यम का पाठ करें।<strong>नवरात्री कलश पूजन मंत्र</strong>गंगे! च यमुने! चैव गोदावरी! सरस्वति!नर्मदे! सिंधु! कावेरि! जलेSस्मिन् सन्निधिं कुरु।।<strong>नवरात्री पूजा संकल्प मंत्र</strong>ॐ विष्णुः विष्णुः विष्णुः, अद्य ब्राह्मणो वयसः परार्धे श्रीश्वेतवाराहकल्पे जम्बूद्वीपे भारतवर्षे, अमुकनामसम्वत्सरेआश्विनशुक्लप्रतिपदे अमुकवासरे प्रारभमाणे नवरात्रपर्वणि एतासु नवतिथिषुअखिलपापक्षयपूर्वक-श्रुति-स्मृत्युक्त-पुण्यसमवेत-सर्वसुखोपलब्धये संयमादिनियमान् दृढ़ं पालयन् अमुकगोत्रःअमुकनामाहं भगवत्याः दुर्गायाः प्रसादाय व्रतं विधास्ये।बिना मंत्र के नवरात्री कलश स्थापना पूजा कैसे करें ?अगर आप मंत्र नहीं पढ़ना चाहते है तो आप बिना मंत्र के ही गंगा, यमुना, कावेरी, गोदावरी, नर्मदा आदि पवित्र नदियों का ध्यान करें और साथ ही वरूण देवता का भी ध्यान करना चाहिए। इसके बाद कलश के मुख पर कलावा बांधे और फिर एक कटोरी से कलश को ढ़क देना चाहिए। इसके बाद ढकी गई कटोरी में जौ भरिए। एक नारियल ले उसे लाल कपड़े से लपेटकर कलावें से बांध देना चाहिए। फिर उस नारियल को जौ से भरी हुई कटोरी के ऊपर स्थापित कर देना चाहिए।कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त 2021आश्विन घटस्थापना बृहस्पतिवार, अक्टूबर 7, 2021 कोघटस्थापना मुहूर्त – 06:17 ए एम से 07:07 ए एमअवधि – 00 घण्टे 50 मिनट्सघटस्थापना अभिजित मुहूर्त – 11:45 ए एम से 12:32 पी एमअवधि – 00 घण्टे 47 मिनट्सनवरात्रि पूजन सामग्री सूची / Navratri Pujan Samagri List PDF in Hindiघटस्थापना हेतु निम्नलिखित पूजन सामग्री की आवश्यकता होती है –लाल रंग की गोटेदार चुनरीलाल रेशमी चूड़ियांसिन्दूरआम के पत्‍तेलाल वस्त्रलंबी बत्ती के लिए रुई या बत्तीधूपअगरबत्तीमाचिसचौकीचौकी के लिए लाल कपड़ानारियलदुर्गासप्‍तशती किताबकलशसाफ चावलकुमकुममौलीश्रृंगार का सामानदीपकघी/ तेलफूलफूलों का हारपानसुपारीलाल झंडालौंगइलायचीबताशे अथवा मिश्रीकपूरउपलेफल/मिठाईदेवी की प्रतिमा या फोटोकलावामेवेआम की लकड़ीजौधूपपांच मेवाघीलोबानगुगललौंगकमल गट्टासुपारीकपूरहवन कुंड<strong>You can also like :</strong><a href="https://pdffile.co.in/navratri-puja-samagri-list/">नवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट | Navratri Puja Samagri List PDF in Hindi</a><strong>You can download Navratri Kalash Sthapana Vidhi PDF in Hindi by clicking on the following download button.</strong>#कलश #सथपन #वध #मतर #Kalash #Sthapana #Vidhi #PDF #HindiThe post <a href="https://www.ebookmela.co.in/download/%e0%a4%95%e0%a4%b2%e0%a4%b6-%e0%a4%b8%e0%a5%8d%e0%a4%a5%e0%a4%be%e0%a4%aa%e0%a4%a8%e0%a4%be-%e0%a4%b5%e0%a4%bf%e0%a4%a7%e0%a4%bf-%e0%a4%ae%e0%a4%82%e0%a4%a4%e0%a5%8d%e0%a4%b0-kalash-sthapana-vidhi-p">कलश स्थापना…
यंत्रोद्धारक हनुमान स्तोत्र | Yantrodharaka Hanuman Stotra PDF in Hindi
यंत्रोद्धारक हनुमान स्तोत्र | Yantrodharaka Hanuman Stotra PDF Detailsयंत्रोद्धारक हनुमान स्तोत्र | Yantrodharaka Hanuman StotraPDF Nameयंत्रोद्धारक हनुमान स्तोत्र | Yantrodharaka Hanuman Stotra PDFNo. of Pages4PDF Size0.58 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityAvailable ateBookmelaDownload LinkAvailable Downloads26
यंत्रोद्धारक हनुमान स्तोत्र | Yantrodharaka Hanuman Stotra Hindi PDF Summaryहनुमान जी को न केवल भारत में बल्कि दुनियाभर में बड़ी संख्या में पूजा जाता है। हनुमान जी की पूजा करने वाला व्यक्ति जीवन में कभी दुखी नहीं रहता। तुलसीदास जी ने कहा है नासै रोग हरे सब पीरा, जपत निरंतर हनुमत बीरा।। अतः हनुमान जी का पूजन करने से रोग सहित समस्त प्रकार की पीड़ाओं का नाश होता है। हनुमान जी के भक्तो से श्री राम जी भी प्रेम करते हैं।हनुमान जी को समर्पित अनेकों दिव्य स्त्रोतों में से एक चमत्कारी स्तोत्र का नाम यंत्रोद्धारक हनुमान स्तोत्र है। यह एक वैदिक स्तोत्र है जिसमें प्रभावशाली श्लोकों को संगलित किया है। इस स्तोत्र को मुख्यतः संस्कृत भाषा में लिखा गया है। इस स्तोत्र का प्रभाव आपको चालीस दिन में दिखाई देने लगता है।Yantrodharaka Hanuman Stotra in Sanskrit PDFश्री हनुमत्स्तोत्रम् व्यासतीर्थविरचितम्नमामि दूतं रामस्य सुखदं च सुरद्रुमम् ।पीनवृत्तमहाबाहुं सर्वशत्रुनिबर्हणम् ॥ १॥नानारत्नसमायुक्तकुण्डलादिविभूषितम् ।सर्वदाभीष्टदातारं सतां वै दृढमाहवे ॥ २॥वासिनं चक्रतीर्थस्य दक्षिणस्थगिरौ सदा ।तुङ्गाम्भोधितरङ्गस्य वातेन परिशोभिते ॥ ३॥नानादेशागतैः सद्भिः सेव्यमानं नृपोत्तमैः ।धूपदीपादिनैवेद्यैः पञ्चखाद्यैश्च शक्तितः ॥ ४॥भजामि श्रीहनूमन्तं हेमकान्तिसमप्रभम् ।व्यासतीर्थयतीन्द्रेण पूजितं प्रणिधानतः ॥ ५॥त्रिवारं यः पठेन्नित्यं स्तोत्रं भक्त्या द्विजोत्तमः ।वांछितं लभतेऽभीष्टं षण्मासाभ्यन्तरे खलु ॥ ६॥पुत्रार्थी लभते पुत्रं यशोऽर्थी लभते यशः ।विद्यार्थी लभते विद्यां धनार्थी लभते धनम् ॥ ७॥सर्वथा मास्तु सन्देहो हरिः साक्षी जगत्पतिः ।यः करोत्यत्र सन्देहं स याति निरयं ध्रुवम् ॥ ८॥इति श्रीव्यासतीर्थविरचितम् हनुमत्स्तोत्रं सम्पूर्णम् ।You may also like :हनुमान साठिका | Hanuman Sathika PDF in Hindiहनुमान जी की आरती | Hanuman Aarti Lyricsहनुमान सूक्त | Hanuman Suktamमारुती स्तोत्र | Maruti Stotraएक मुखी हनुमान कवच पाठ | Ek Mukhi Hanuman KavachEk Mukhi Hanuman Kavach EnglishYou can also download Yantrodharaka Hanuman Stotra in Hindi PDF by clicking on the following download button.#यतरदधरक #हनमन #सततर #Yantrodharaka #Hanuman #Stotra #PDF #HindiThe post यंत्रोद्धारक हनुमान स्तोत्र | Yantrodharaka Hanuman Stotra PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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हनुमान जी की आरती | Hanuman Aarti PDF in Hindi
हनुमान जी की आरती | Hanuman Aarti PDF Detailsहनुमान जी की आरती | Hanuman AartiPDF Nameहनुमान जी की आरती | Hanuman Aarti PDFNo. of Pages4PDF Size0.61 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityAvailable ateBookmelaDownload LinkAvailable Downloads26
हनुमान जी की आरती | Hanuman Aarti Hindi PDF Summaryनमस्कार मित्रों, इस पोस्ट के माध्यम से हम आपको हनुमान जी की आरती PDF / Hanuman Aarti PDF in Hindi के लिए डाउनलोड लिंक दे रहे हैं। किसी भी धार्मिक आयोजन में आरती का बहुत अधिक महत्व होता है। आरती के बिना कोई भी अनुष्ठान संपन्न नहीं होता है। ठीक उसी प्रकार श्री हनुमान पूजन की सम्पन्नता हेतु हनुमान आरती भी बहुत ही महत्वपूर्ण है। हनुमान जी की आरती हिंदी भाषा में लिखी गयी है, जिसे कोई भी सरलता से पढ़ा व गा सकता है।इस मधुर व दिव्य आरती के गायन से सभी मनोरथ पूर्ण होते हैं तथा हनुमत पूजन व अनुष्ठान का सम्पूर्ण लाभ मिलता है। आरती करते समय कुछ विशेष बातों का ध्यान रखना आवश्यक है, जैसे आरती करते समय हनुमान जी के एकदम सामने खड़े न होएं बल्कि उनकी दायीं ओर खड़े होकर आरती करें।हनुमान जी की आरती PDF | Hanuman Aarti PDF in Hindiआरती कीजै हनुमान लला की।दुष्ट दलन रघुनाथ कला की॥जाके बल से गिरिवर कांपे।रोग दोष जाके निकट न झांके॥ अंजनि पुत्र महा बलदाई।सन्तन के प्रभु सदा सहाई॥दे बीरा रघुनाथ पठाए।लंका जारि सिया सुधि लाए॥ लंका सो कोट समुद्र-सी खाई।जात पवनसुत बार न लाई॥लंका जारि असुर संहारे।सियारामजी के काज सवारे॥ लक्ष्मण मूर्छित पड़े सकारे।आनि संजीवन प्राण उबारे॥पैठि पाताल तोरि जम-कारे।अहिरावण की भुजा उखारे॥ बाएं भुजा असुरदल मारे।दाहिने भुजा संतजन तारे॥सुर नर मुनि आरती उतारें।जय जय जय हनुमान उचारें॥ कंचन थार कपूर लौ छाई।आरती करत अंजना माई॥जो हनुमानजी की आरती गावे।बसि बैकुण्ठ परम पद पावे॥ श्री हनुमान जी की आरती के लाभइस आरती को प्रतिदिन करने से मानसिक शांति मिलती है।श्री हनुमान जी की आरती को भक्तिभाव से गाने से श्री राम जी भी प्रसन्न होते हैं।हनुमान जी अजर – अमर हैं, अतः उनकी आराधना से वह आपके साथ रहते हैं।किसी भी पूजन का पूर्ण फल प्राप्त करने के लिए आरती करना बहुत आवश्यक है।इस आरती के प्रभाव से घर में सकारत्मकता आती है।You can download हनुमान जी की आरती PDF / Hanuman Aarti PDF in Hindi by clicking on the following download button.#हनमन #ज #क #आरत #Hanuman #Aarti #PDF #HindiThe post हनुमान जी की आरती | Hanuman Aarti PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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