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दुर्गे दुर्घट भारी आरती | Durge Durgat Bhari Aarti PDF in Marathi
दुर्गे दुर्घट भारी आरती | Durge Durgat Bhari Aarti PDF Detailsदुर्गे दुर्घट भारी आरती | Durge Durgat Bhari AartiPDF Nameदुर्गे दुर्घट भारी आरती | Durge Durgat Bhari Aarti PDFNo. of Pages1PDF Size0.22 MBLanguageMarathiCategoryReligion & SpiritualityAvailable atplanetread.orgDownload LinkAvailable Downloads26
दुर्गे दुर्घट भारी आरती | Durge Durgat Bhari Aarti Marathi PDF SummaryFriends, today we are going to upload the Durge Durgat Bhari Aarti PDF / दुर्गे दुर्घट भारी आरती PDF to help you. Navratri festival is celebrated from Ashwin Shukla Pratipada to Navami. Worship of the Goddess, fasting, pooja, worship, salutation, chanting, home-havan is done all over the country according to our own methods, clans, customs, and traditions. Aarti of Goddess Durga should be sung regularly with full devotion to get the power of Mata Durga. Maa Durga will help you to win every battle of life and give victory in all your endeavors. Below we have given the download link for दुर्गे दुर्घट भारी आरती PDF / Durge Durgat Bhari Aarti Lyrics PDF in Hindiमां दुर्गा की शक्ति प्राप्त करने के लिए पूरी श्रद्धा के साथ नियमित रूप से मां दुर्गा की आरती करनी चाहिए। मां दुर्गा आपको जीवन की हर लड़ाई जीतने में मदद करेंगी और आपके सभी प्रयासों में जीत दिलाएंगी|दुर्गे दुर्घट भारी आरती PDF | Durge Durgat Bhari Aarti PDF in Marathiदुर्गे दुर्घट भारी तुजविण संसारी ।अनाथनाथे अंबे करुणा विस्तारी ॥वारी वारीं जन्ममरणाते वारी ।हारी पडलो आता संकट नीवारी ॥ १ ॥जय देवी जय देवी जय महिषासुरमथनी ।सुरवरईश्वरवरदे तारक संजीवनी ॥ धृ. ॥त्रिभुवनी भुवनी पाहतां तुज ऎसे नाही ।चारी श्रमले परंतु न बोलावे काहीं ॥साही विवाद करितां पडिले प्रवाही ।ते तूं भक्तालागी पावसि लवलाही ॥ २ ॥प्रसन्न वदने प्रसन्न होसी निजदासां ।क्लेशापासूनि सोडी तोडी भवपाशा ॥अंबे तुजवांचून कोण पुरविल आशा ।नरहरि तल्लिन झाला पदपंकजलेशा ॥ ३ ॥Durge Durgat Bhari Aarti Lyrics PDF in HindiHere you can download the Durge Durgat Bhari Aarti PDF / दुर्गे दुर्घट भारी आरती PDF by click on the link given below.#दरग #दरघट #भर #आरत #Durge #Durgat #Bhari #Aarti #PDF #MarathiThe post दुर्गे दुर्घट भारी आरती | Durge Durgat Bhari Aarti PDF in Marathi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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श्री दुर्गा आरती | Durga Aarti PDF in Hindi
श्री दुर्गा आरती | Durga Aarti PDF Detailsश्री दुर्गा आरती | Durga AartiPDF Nameश्री दुर्गा आरती | Durga Aarti PDFNo. of Pages3PDF Size0.42 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityAvailable ateBookmelaDownload LinkAvailable Downloads26
श्री दुर्गा आरती | Durga Aarti Hindi PDF SummaryFriends, here we have uploaded the Durga Aarti PDF in Hindi / श्री दुर्गा आरती PDF for our devotees. Mother’s grace always remains on the person who duly worships Maa Durga on the holy festival of Navratri. Being pleased with her devotees, the mother takes away all their sorrows. Different forms of the mother are worshiped on every day of Navratri. It is very important to sing Durga Maa Aarti during the puja. In this article, we have also given a download link for Durga Ji Ki Aarti PDF / दुर्गा जी की आरती PDFLight a lamp of camphor or cow’s ghee in the plate of worship while performing the aarti of Durga Maa. Do play it even while performing the aarti of the mother. Sing the aarti Along with the aarti, you must blow conch shell and bell. If Shanghnaad and bells are played during the aarti, their sound destroys the negative energy inside the house.श्री दुर्गा आरती PDF | Durga Ji Ki Aarti PDFॐ जय अम्बे गौरी, मैया जय श्यामा गौरी ।
तुमको निशदिन ध्यावत, मैया जी को सदा मनावत, हरि ब्रह्मा शिवरी ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।मांग सिंदूर विराजत, टीको मृगमद को ।
उज्ज्वल से दोउ नैना, निर्मल से दोउ नैना, चन्द्रबदन नीको ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।कनक समान कलेवर,,रक्ताम्बर राजै ।
रक्त पुष्प गलमाला, लाल कुसुम गलमाला, कण्ठन पर साजै ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।केहरि वाहन राजत, खड़ग खप्परधारी ।
सुर नर मुनिजन सेवत, सुर नर मुनिजन ध्यावत, तिनके दुखहारी ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।कानन कुण्डल शोभित, नासाग्रे मोती ।
कोटिक चन्द्र दिवाकर, कोटिक चन्द्र दिवाकर, सम राजत ज्योति ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।शुम्भ निशुम्भ विडारे, महिषासुर घाती ।
धूम्र विलोचन नैना, मधुर विलोचन नैना, निशदिन मदमाती ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।चण्ड मुण्ड संघारे, शोणित बीज हरे ।
मधुकैटभ दोउ मारे, मधुकैटभ दोउ मारे, सुर भयहीन करे ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।ब्रह्माणी रुद्राणी तुम कमला रानी ।
आगम निगम बखानी, चारों वेद बखानी, तुम शिव पटरानी ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।चौसठ योगिनी गावत, नृत्य करत भैरू ।
बाजत ताल मृदंगा, बाजत ढोल मृदंगा, अरु बाजत डमरू ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।तुम हो जग की माता, तुम ही हो भर्ता ।
भक्तन की दुख हरता, संतन की दुख हरता, सुख-सम्पत्ति करता ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।भुजा चार अति शोभित, वर मुद्रा धारी ।
मनवांछित फल पावत, मनइच्छा फल पावत, सेवत नर नारी ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।कंचन थाल विराजत, अगर कपूर बाती ।
श्री मालकेतु में राजत, धोळा गिरी पर राजत, कोटि रतन ज्योति ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।श्री अम्बे जी की आरती, जो कोई नर गावै, मैया प्रेम सहित गावें ।
कहत शिवानन्द स्वामी, रटत हरिहर स्वामी, मनवांछित फल पावै ।।ॐ जय अम्बे गौरी, मैया जय श्यामा गौरी ।
तुमको निशदिन ध्यावत , मैया जी को सदा मनावत, हरि ब्रह्मा शिवरी ।।
ॐ जय अम्बे गौरी ।दुर्गा जी की आरती PDF | Durga Ji Ki Aarti PDFनीचे दिए गए लिंक पर क्लिक कर के आप Durga Aarti PDF in Hindi / श्री दुर्गा आरती PDF मुफ्त में डाउनलोड कर सकते है।#शर #दरग #आरत #Durga #Aarti #PDF #HindiThe post श्री दुर्गा आरती | Durga Aarti PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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दुर्गा नवमी पूजा विधि | Durga Navami Pooja Vidhi and Mantra PDF in Hindi
दुर्गा नवमी पूजा विधि | Durga Navami Pooja Vidhi and Mantra PDF Detailsदुर्गा नवमी पूजा विधि | Durga Navami Pooja Vidhi and MantraPDF Nameदुर्गा नवमी पूजा विधि | Durga Navami Pooja Vidhi and Mantra PDFNo. of Pages3PDF Size0.47 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityDownload LinkAvailable Downloads26
दुर्गा नवमी पूजा विधि | Durga Navami Pooja Vidhi and Mantra Hindi PDF Summaryदोस्तों आज हम आपके लिए लेकर आये हैं दुर्गा नवमी पूजा विधि PDF / Durga Navami Pooja Vidhi PDF in Hindi जिसमे आपको महा नवमी की पूजा विधि मंत्र सहित मिलेगी। कल नवरात्री का आखिरी दिन है यानि कल कल लोग महा नवमी का व्रत रख कर माँ दुर्गा के नौवे स्वरुप की पूजा करेंगे। कल के दिन ही भक्त नव दुर्गा व्रत का उद्यापन करेंगे। माँ दुर्गा नवरात्री व्रत का उद्यापन पुरे विधि व् विधान द्वारा किया जाता हैं तथा कन्याओं को भोजन कराया जाता हैं। अष्टमी और नवमी के दिन हवन पूजन और कन्या पूजन का विशेष महत्व है। साथ ही लोग अपने व्रत का पारण भी करते हैं। इस पोस्ट में दिए गए लिंक पर क्लिक करके आप दुर्गा नवमी पूजा मंत्र PDF / Durga Navami Pooja Mantra PDF in Hindi बड़ी आसानी से डाउनलोड कर सकते हैं।इस दिन माता के नौ स्वरूपों में से आखिरी स्वरूप यानी देवी सिद्धिदात्री की उपासना की जाती हैं। महा नवमी के दिन ही नवरात्र के व्रत का पारण किया जाता है। इस दिन सुबह पूजा कर कन्या पूजन किया जाता है। इसके बाद व्रती स्वयं भी भोजन कर अपने व्रतों का पारण करते हैं।दुर्गा नवमी पूजा विधि PDF | Durga Navami Pooja Vidhi PDF in Hindiदुर्गा अष्टमी के दिन सुबह उठें, गंगाजल डालकर स्नानादि करें.लकड़ी के पाठ लें और उस पर लाल वस्त्र बिछाएं.फिर मां दुर्गा के मंत्र का जाप करते हुए उनकी प्रतिमा या फोटो स्थापित करें.लाल या ऊड़हल के फूल, सिंदूर, अक्षत, नैवेद्य, सिंदूर, फल, मिष्ठान आदि से मां दुर्गा के सभी स्वरूपों की पूजा करें.फिर धूप-दीपक जलाकर दुर्गा चालीसा का पाठ करें और आरती भी करना न भूलें.इसके बाद हाथ जोड़ें और उनके समक्ष अपनी इच्छाएं रखें.ऐसा करने से मनोवांछित फल की प्राप्ति होती है.दुर्गा नवमी पूजा मंत्र PDF | Durga Navami Pooja Mantra PDF in Hindiसर्वमङ्गलमङ्गल्ये शिवे सर्वार्थसाधिके।शरण्ये त्र्यम्बके गौरि नारायणि नमोऽस्तुते॥ॐ क्लींग ज्ञानिनामपि चेतांसि देवी भगवती ही सा,बलादाकृष्य मोहय महामाया प्रयच्छतिशरणागतदीनार्तपरित्राणपरायणे।सर्वस्यार्तिहरे देवि नारायणि नमोऽस्तु ते॥सृष्टिस्थितिविनाशानां शक्ति भूते सनातनि।गुणाश्रये गुणमये नारायणि नमोऽस्तु ते॥शूलेन पाहि नो देवि पाहि खड्गेन चाम्बिके।घण्टास्वनेन न: पाहि चापज्यानि:स्वनेन च॥देहि सौभाग्यमारोग्यं देहि मे परमं सुखम्।रूपं देहि जयं देहि यशो देहि द्विषो जहि॥सर्वस्वरूपे सर्वेशे सर्वशक्ति समन्विते।भयेभ्याहि नो देवि दुर्गे देवि नमोऽस्तु ते॥जयन्ती मङ्गला काली भद्रकाली कपालिनी।दुर्गा क्षमा शिवा धात्री स्वाहा स्वधा नमोऽस्तुते॥नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक कर के आप दुर्गा नवमी पूजा विधि PDF / Durga Navami Pooja Vidhi PDF in Hindi मुफ्त में डाउनलोड कर सकते है।#दरग #नवम #पज #वध #Durga #Navami #Pooja #Vidhi #Mantra #PDF #HindiThe post दुर्गा नवमी पूजा विधि | Durga Navami Pooja Vidhi and Mantra PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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श्री दुर्गा अष्टक | Durga Ashtakam PDF in Hindi
श्री दुर्गा अष्टक | Durga Ashtakam PDF Detailsश्री दुर्गा अष्टक | Durga AshtakamPDF Nameश्री दुर्गा अष्टक | Durga Ashtakam PDFNo. of Pages5PDF Size0.71 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityAvailable ateBookmelaDownload LinkAvailable Downloads26
श्री दुर्गा अष्टक | Durga Ashtakam Hindi PDF SummaryDurga Ashtakam is one of the best ways to please Goddess Durga for improving your life standards. You can gain mental and physical solidity by reciting Durga Ashtakam Every day in the home. Goddess Durga is considered to be a furious form of Devi Adi Shakti but Goddess Durga is so kind to her devotees.You can recite it through the pdf file which is given below in this article. You can save yourself from various kinds of bottlenecks that you are facing in your life. There are a lot of benefits of reciting this Ashtakam but few of these are given in this article.श्री दुर्गा अष्टकम स्तोत्र / Durga Ashtakam Lyrics in Hindiदुर्गे परेशि शुभदेशि परात्परेशिवन्द्ये महेशदयिते करूणार्णवेशि ।स्तुत्ये स्वधे सकलतापहरे सुरेशिकृष्णस्तुते कुरु कृपां ललितेऽखिलेशि ॥ १॥ दिव्ये नुते श्रुतिशतैर्विमले भवेशिकन्दर्पदाराशतसुन्दरि माधवेशि ।मेधे गिरीशतनये नियते शिवेशिकृष्णस्तुते कुरु कृपां ललितेऽखिलेशि ॥ २॥ रासेश्वरि प्रणततापहरे कुलेशिधर्मप्रिये भयहरे वरदाग्रगेशि ।वाग्देवते विधिनुते कमलासनेशिकृष्णस्तुतेकुरु कृपां ललितेऽखिलेशि ॥ ३॥ पूज्ये महावृषभवाहिनि मंगलेशिपद्मे दिगम्बरि महेश्वरि काननेशिरम्येधरे सकलदेवनुते गयेशिकृष्णस्तुते कुरु कृपां ललितेऽखिलेशि ॥ ४॥ श्रद्धे सुराऽसुरनुते सकले जलेशिगंगे गिरीशदयिते गणनायकेशि ।दक्षे स्मशाननिलये सुरनायकेशिकृष्णस्तुते कुरु कृपां ललितेऽखिलेशि ॥ ५॥ तारे कृपार्द्रनयने मधुकैटभेशिविद्येश्वरेश्वरि यमे निखलाक्षरेशि ।ऊर्जे चतुःस्तनि सनातनि मुक्तकेशिकृष्णस्तुते कुरु कृपां ललितऽखिलेशि ॥ ६॥ मोक्षेऽस्थिरे त्रिपुरसुन्दरिपाटलेशिमाहेश्वरि त्रिनयने प्रबले मखेशि ।तृष्णे तरंगिणि बले गतिदे ध्रुवेशिकृष्णस्तुते कुरु कृपां ललितेऽखिलेशि ॥ ७॥ विश्वम्भरे सकलदे विदिते जयेशिविन्ध्यस्थिते शशिमुखि क्षणदे दयेशि ।मातः सरोजनयने रसिके स्मरेशिकृष्णस्तुते कुरु कृपां ललितेऽखिलेशि ॥ ८॥ दुर्गाष्टकं पठति यः प्रयतः प्रभातेसर्वार्थदं हरिहरादिनुतां वरेण्यां ।दुर्गां सुपूज्य महितां विविधोपचारैःप्राप्नोति वांछितफलं न चिरान्मनुष्यः ॥ ९॥॥ इति श्री मत्परमहंसपरिव्राजकाचार्यश्रीमदुत्तरांनायज्योतिष्पीठाधीश्वरजगद्गुरू-शंकराचार्य-स्वामि-श्रीशान्तानन्द सरस्वती शिष्य-स्वामि श्री मदनन्तानन्द-सरस्वतिविरचितं श्री दुर्गाष्टकं सम्पूर्णम्॥ श्री दुर्गा अष्टक पाठ के लाभ / Benefits Reciting Durga Ashtakam PDF in Hindiइस अष्टक के पाठ से जातक की शरीरिक व मानसिक कष्ट दूर होते हैं।यदि आप प्रतिदिन इस अष्टक का पाठ कर सकते हैं, तो यह आपके जीवन में चमत्कारी परिवर्तन कर सकता है।श्री दुर्गा जी की कृपा प्राप्त करने के लिए यह सरल साधन है।यदि आपके दुश्मन आपको परशान कर रहे हैं तो इस अष्टक पाठ अवश्य करें।इस अष्टक के पाठ से आप देवी दुर्गा की कृपा द्वारा मनोरथ पूर्ण कर सकते हैं।You can download Durga Ashtakam PDF in Hindi by clicking on the following download button.#शर #दरग #अषटक #Durga #Ashtakam #PDF #HindiThe post श्री दुर्गा अष्टक | Durga Ashtakam PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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दुर्गा अष्टमी व्रत कथा | Durga Ashtami Vrat Katha PDF in Hindi
दुर्गा अष्टमी व्रत कथा | Durga Ashtami Vrat Katha PDF Details<a href="https://pdffile.co.in/wp-content/uploads/pdf-thumbnails/2021/10/small/-----durga-ashtami-vrat-katha-347.jpg">दुर्गा अष्टमी व्रत कथा | Durga Ashtami Vrat Katha</a>PDF Name<b>दुर्गा अष्टमी व्रत कथा | Durga Ashtami Vrat Katha PDF</b>No. of Pages<b>3</b>PDF Size<b>0.72 MB</b>Language<b>Hindi</b>Category<a href="https://pdffile.co.in/category/religion-spirituality/">Religion & Spirituality</a>Available at<b>eBookmela</b>Download LinkAvailable <a href="https://s.w.org/images/core/emoji/13.1.0/72x72/2714.png"></a>Downloads26
दुर्गा अष्टमी व्रत कथा | Durga Ashtami Vrat Katha Hindi PDF SummaryToday we are going to share दुर्गा अष्टमी व्रत कथा PDF | Durga Ashtami Vrat Katha PDF in Hindi with you. Durga Ashtami is one of the most popular festivals in India. There are many people who observe the Ashtami fast and end the fast of Navratri on this day. You can praise Goddess Durga by doing fast on this day and seek her blessings for you and your family. Goddess Durga is the most worshipped goddess in India. In this article, we have given the download link for नवरात्री अष्टमी व्रत कथा PDF | Navratri Ashtami Vrat Katha PDFIf you also want to seek the blessings of Goddess Durga by observing the fast of Durga Ashtami. There are few things you should remember while observing this fast. You should recite the Durga Ashtami Vrat Katha for the completion of your fast.दुर्गा अष्टमी व्रत कथा PDF | Durga Ashtami Vrat Katha PDF in Hindiपौराणिक कथा के अनुसार मासिक दुर्गा अष्टमी के दिन के लिए मान्यता है कि दुर्गम नाम के क्रूर राक्षस ने अपनी क्रूरता से तीनों लोकों को पर अत्याचार किया हुआ था। उसके आतंक के कारण सभी देवता स्वर्ग छोड़कर कैलाश चले गए थे। दुर्गम राक्षस को वरदान था कि कोई भी देवता उसका वध नहीं कर सकता, सभी देवता ने भगवान शिव से विनती कि वो इस परेशानी का हल निकालें। इसके बाद ब्रह्मा, विष्णु और शिव ने अपनी शक्तियों को मिलाकर शुक्ल पक्ष की अष्टमी के दिन देवी दुर्गा को जन्म दिया। इसके बाद माता दुर्गा को सबसे शक्तिशाली हथियार दिया गया और राक्षस दुर्गम के साथ युद्ध छेड़ दिया गया। जिसमें माता ने राक्षस का वध कर दिया और इसके बाद से दुर्गा अष्टमी की उत्पति हुई। इसलिए दुर्गा अष्टमी के दिन शस्त्र पूजा का भी विधान है।अष्टमी पूजा का शुभ मुहूर्त / Durga Puja Muhurat 2021दुर्गा अष्टमी बुधवार, अक्टूबर 13, 2021 कोअष्टमी तिथि प्रारम्भ – अक्टूबर 12, 2021 को 09:47 पी एम बजेअष्टमी तिथि समाप्त – अक्टूबर 13, 2021 को 08:07 पी एम बजेअष्टमी कन्या पूजन शुभ मुहूर्तनवरात्रि अष्टमी शुभ मुहूर्त: अमृत काल- 03:23 AM से 04:56 AM तक और ब्रह्म मुहूर्त– 04:41 AM से 05:31 AM तक है।कैसे करें कन्या पूजन ?कन्या पूजन कोई घर पर तो कोई मंदिर में जाकर करता है।शास्त्रों के अनुसार 2 वर्ष से लेकर 10 वर्ष तक की कन्याओं को कंजक पूजा के लिए आमंत्रित करना चाहिए।कन्या पूजन में एक बालक का होना भी जरूरी माना जाता है।कन्या पूजन वाले दिन सबसे पहले माता अम्बे की विधि विधान पूजा कर लें।इसके बाद कन्याओं और बालक के साफ जल से पैर धोएं।फिर कन्याओं और बालक को विराजने के लिए आसन दें।फिर मां दुर्गा के समक्ष दीपक प्रज्वलित करें और सभी कन्याओं और एक बालक को तिलक लगाएं और हाथ में कलावा बांधें।इसके बाद बालक और कन्याओं को भोजन परोसें।भोजन के बाद कन्याओं को अपने सामर्थ्य अनुसार दक्षिणा या उपहार दें।फिर सभी कन्याओं के पैर छूकर उनका आशीर्वाद प्राप्त कर उन्हें सम्मान के साथ विदा करें।अष्टमी दिन का चौघड़िया मुहूर्तलाभ – 06:26 AM से 07:53 PM
अमृत – 07:53 AM से 09:20 PM
शुभ – 10:46 AM से 12:13 PM
लाभ – 16:32 AM से 17:59 PMनवरात्री अष्टमी व्रत कथा PDF | Navratri Ashtami Vrat Katha PDF<strong>You can download दुर्गा अष्टमी व्रत कथा PDF | Durga Ashtami Vrat Katha PDF in Hindi by clicking on the following download button.</strong>#दरग #अषटम #वरत #कथ #Durga #Ashtami #Vrat #Katha #PDF #HindiThe post <a href="https://www.ebookmela.co.in/download/%e0%a4%a6%e0%a5%81%e0%a4%b0%e0%a5%8d%e0%a4%97%e0%a4%be-%e0%a4%85%e0%a4%b7%e0%a5%8d%e0%a4%9f%e0%a4%ae%e0%a5%80-%e0%a4%b5%e0%a5%8d%e0%a4%b0%e0%a4%a4-%e0%a4%95%e0%a4%a5%e0%a4%be-durga-ashtami-vrat-kath">दुर्गा अष्टमी व्रत कथा | Durga Ashtami Vrat Katha PDF in Hindi</a> appeared first on <a href="https://w…
दुर्गा अष्टमी पूजा विधि | Durga Ashtami Puja Vidhi PDF in Hindi
दुर्गा अष्टमी पूजा विधि | Durga Ashtami Puja Vidhi PDF Detailsदुर्गा अष्टमी पूजा विधि | Durga Ashtami Puja VidhiPDF Nameदुर्गा अष्टमी पूजा विधि | Durga Ashtami Puja Vidhi PDFNo. of Pages3PDF Size0.79 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityAvailable ateBookmelaDownload LinkAvailable Downloads26
दुर्गा अष्टमी पूजा विधि | Durga Ashtami Puja Vidhi Hindi PDF SummaryIn this article we are going to upload दुर्गा अष्टमी पूजा विधि PDF | Durga Ashtami Puja Vidhi PDF in Hindi the Dear readers, you can know about the complete and valid Durga Ashtami Puja Vidhi which is followed by a huge number of people for concluding the fast. Durga Ashtami Puja is a very essential part of Navratri. Your fast is incomplete without this Durga Puja. Below we have provided the download link for Navratri Ashtami Vrat Katha PDF in Hindi / नवरात्री अष्टमी व्रत कथा PDF.Durga Ashtami is very significant for those who are doing any specific Sadhna and Siddhi. They can be reached the ultimate goal of the spiritual world by doing the perfect puja on the occasion of Durga Ashtami during Navratri. If you also want to do Durga Ashtami Puja at your home, you can follow this Puja Vidhi.दुर्गा अष्टमी पूजन की विधि PDF | Durga Ashtami Puja Vidhi PDFदुर्गा अष्टमी के दिन सुबह उठें, गंगाजल डालकर स्नानादि करें.लकड़ी के पाठ लें और उस पर लाल वस्त्र बिछाएं.फिर मां दुर्गा के मंत्र का जाप करते हुए उनकी प्रतिमा या फोटो स्थापित करें.लाल या ऊड़हल के फूल, सिंदूर, अक्षत, नैवेद्य, सिंदूर, फल, मिष्ठान आदि से मां दुर्गा के सभी स्वरूपों की पूजा करें.फिर धूप-दीपक जलाकर दुर्गा चालीसा का पाठ करें और आरती भी करना न भूलें.इसके बाद हाथ जोड़ें और उनके समक्ष अपनी इच्छाएं रखें.ऐसा करने से मनोवांछित फल की प्राप्ति होती है.नवरात्री अष्टमी व्रत कथा PDF | Durga Ashtami Vrat Katha PDFसदियों पहले पृथ्वी पर असुर बहुत शक्तिशाली हो गए थे और वे स्वर्ग पर चढ़ाई करने लगे. उन्होंने कई देवताओं को मार डाला और स्वर्ग में तबाही मचा दी. इन सबमें सबसे शक्तिशाली असुर महिषासुर था. तब उसका अंत करने के लिए भगवान शिव, भगवान विष्णु और भगवान ब्रह्मा ने शक्ति स्वरूप देवी दुर्गा को बनाया. हर देवता ने देवी दुर्गा को विशेष हथियार प्रदान किए. इसके बाद आदिशक्ति दुर्गा ने पृथ्वी पर आकर असुरों का वध किया. मां दुर्गा ने महिषासुर की सेना के साथ युद्ध किया और अंत में उसे मार दिया. उस दिन से दुर्गा अष्टमी का पर्व प्रारम्भ हुआ.मां दुर्गा के विशेष मंत्रसर्वमङ्गलमङ्गल्ये शिवे सर्वार्थसाधिके।शरण्ये त्र्यम्बके गौरि नारायणि नमोऽस्तुते॥ॐ क्लींग ज्ञानिनामपि चेतांसि देवी भगवती ही सा,बलादाकृष्य मोहय महामाया प्रयच्छतिशरणागतदीनार्तपरित्राणपरायणे।सर्वस्यार्तिहरे देवि नारायणि नमोऽस्तु ते॥सृष्टिस्थितिविनाशानां शक्ति भूते सनातनि।गुणाश्रये गुणमये नारायणि नमोऽस्तु ते॥शूलेन पाहि नो देवि पाहि खड्गेन चाम्बिके।घण्टास्वनेन न: पाहि चापज्यानि:स्वनेन च॥देहि सौभाग्यमारोग्यं देहि मे परमं सुखम्।रूपं देहि जयं देहि यशो देहि द्विषो जहि॥सर्वस्वरूपे सर्वेशे सर्वशक्ति समन्विते।भयेभ्याहि नो देवि दुर्गे देवि नमोऽस्तु ते॥जयन्ती मङ्गला काली भद्रकाली कपालिनी।दुर्गा क्षमा शिवा धात्री स्वाहा स्वधा नमोऽस्तुते॥You can download Durga Ashtami Puja Vidhi PDF in Hindi / दुर्गा अष्टमी पूजा विधि PDF by clicking on the following download button.#दरग #अषटम #पज #वध #Durga #Ashtami #Puja #Vidhi #PDF #HindiThe post दुर्गा अष्टमी पूजा विधि | Durga Ashtami Puja Vidhi PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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दुर्गा जी की हवन विधि | Navratri Havan Vidhi PDF in Hindi
दुर्गा जी की हवन विधि | Navratri Havan Vidhi PDF Detailsदुर्गा जी की हवन विधि | Navratri Havan VidhiPDF Nameदुर्गा जी की हवन विधि | Navratri Havan Vidhi PDFNo. of Pages5PDF Size0.86 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityAvailable ateBookmelaDownload LinkAvailable Downloads26
दुर्गा जी की हवन विधि | Navratri Havan Vidhi Hindi PDF Summaryनवरात्रि में देवी दुर्गा के हवन का विशेष महत्व है। देवी दुर्गा हवन आप अपने घर पर भी सरलता से कर सकते हैं। दुर्गा माँ को प्रसन्न करने के लिए नवरात्रि का समय सबसे अच्छा होता है। नवरात्रि के समय देवी दुर्गा अपने भक्तों के घर में नौ दिनों तक वास करती हैं। बहुत से साधक नवरात्रि के समय अलग – अलग तरह की साधनायें करते हैं।यदि आप भी नवरात्रि के समय अपने घर पर हवन करना चाहते हैं, तो यहाँ दी हुई नवरात्रि हवन विधि pdf के माध्यम से दुर्गा हवन मंत्र का उच्चारण करते हुए घर पर ही देवी दुर्गा की प्रसन्नता हेतु दुर्गा नवरात्रि हवन कर सकते हैं। यहां दी हुई विधि बहुत सरल व उपयोगी है, इसलिए इसे कोई भी आसानी से कर सकता है। नवरात्रि हवन मंत्र / Navratri Havan Mantra in Hindi PDFओम गणेशाय नम: स्वाहाओम गौरियाय नम: स्वाहाओम नवग्रहाय नम: स्वाहाओम दुर्गाय नम: स्वाहाओम महाकालिकाय नम: स्वाहाओम हनुमते नम: स्वाहाओम भैरवाय नम: स्वाहाओम कुल देवताय नम: स्वाहाओम स्थान देवताय नम: स्वाहाओम ब्रह्माय नम: स्वाहाओम विष्णुवे नम: स्वाहाओम शिवाय नम: स्वाहाओम जयंती मंगलाकाली, भद्रकाली कपालिनी दुर्गा क्षमा शिवाधात्री स्वाहा स्वधा नमस्तुति स्वाहा। ओम ब्रह्मा मुरारी त्रिपुरांतकारी भानु: शशि भूमि सुतो बुधश्च: गुरुश्च शुक्र शनि राहु केतव सर्वे ग्रहा शांति करा भवंतु स्वाहा। ओम गुरुर्ब्रह्मा, गुरुर्विष्णु, गुरुर्देवा महेश्वर: गुरु साक्षात् परब्रह्मा तस्मै श्री गुरुवे नम: स्वाहा।ओम शरणागत दीनार्त परित्राण परायणे, सर्व स्थार्ति हरे देवि नारायणी नमस्तुते।हवन सामग्री की लिस्ट PDF / Havan Samagri List in Hindi PDFआम की लकडियां, बेल, नीम, पलाश का पौधा, कलीगंज, देवदार की जड़, गूलर की छाल और पत्ती, पापल की छाल और तना, बेर, आम की पत्ती और तना, चंदन का लकड़ी, तिल, कपूर, लौंग, चावल, ब्राह्मी, मुलैठी, अश्वगंधा की जड़, बहेड़ा का फल, हर्रे तथा घी, शक्कर, जौ, गुगल, लोभान, इलायची एवं अन्य वनस्पतियों का बूरा। गाय के गोबर से बने उपले घी में डुबाकर डाले जाते हैं।You can download Navratri Havan Vidhi in Hindi PDF by clicking on the following download button.#दरग #ज #क #हवन #वध #Navratri #Havan #Vidhi #PDF #HindiThe post दुर्गा जी की हवन विधि | Navratri Havan Vidhi PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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श्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga Stuti PDF in Hindi
श्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga Stuti PDF Detailsश्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga StutiPDF Nameश्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga Stuti PDFNo. of Pages12PDF Size11.3 MBLanguageHindiCategoryReligion & SpiritualityDownload LinkAvailable Downloads26
श्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga Stuti Hindi PDF Summaryदोस्तों आज हम आपके लिए लेकर आये हैं Durga Stuti PDF in Hindi / श्री दुर्गा स्तुति पाठ PDF जिसके नियमित पाठ करने से माँ दुर्गा प्रसन्न होती हैं। हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार दुर्गा स्तुति का नियमित जप देवी दुर्गा को प्रसन्न करने और उनका आशीर्वाद प्राप्त करने का सबसे शक्तिशाली तरीका है। सर्वोत्तम परिणाम प्राप्त करने के लिए आपको सुबह स्नान करने के बाद और देवी दुर्गा की मूर्ति या तस्वीर के सामने दुर्गा स्तुति का पाठ करना चाहिए। इसके प्रभाव को अधिकतम करने के लिए आपको सबसे पहले दुर्गा स्तुति का मतलब हिंदी में समझना चाहिए। इस पोस्ट में दिए गए लिंक के द्वारा आप दुर्गा स्तुति इन हिंदी PDF / Chaman Ki Durga Stuti PDF उनलोड कर सकते हैं।दुर्गा स्तुति / Durga Stuti Book PDF के नियमित पाठ से मन को शांति मिलती है और आपके जीवन से सभी बुराई दूर होती है और आप स्वस्थ, धनवान और समृद्ध बनते हैं।दुर्गा स्तुति इन हिंदी PDF | Durga Stuti PDFजय भगवति देवि नमो वरदे जय पापविनाशिनि बहुफलदे।
जय शुम्भनिशुम्भकपालधरे प्रणमामि तु देवि नरार्तिहरे॥1॥जय चन्द्रदिवाकरनेत्रधरे जय पावकभूषितवक्त्रवरे।
जय भैरवदेहनिलीनपरे जय अन्धकदैत्यविशोषकरे॥2॥जय महिषविमर्दिनि शूलकरे जय लोकसमस्तकपापहरे।
जय देवि पितामहविष्णुनते जय भास्करशक्रशिरोवनते॥3॥जय षण्मुखसायुधईशनुते जय सागरगामिनि शम्भुनुते।
जय दु:खदरिद्रविनाशकरे जय पुत्रकलत्रविवृद्धिकरे॥4॥जय देवि समस्तशरीरधरे जय नाकविदर्शिनि दु:खहरे।
जय व्याधिविनाशिनि मोक्ष करे जय वाञ्छितदायिनि सिद्धिवरे॥5॥एतद्व्यासकृतं स्तोत्रं य: पठेन्नियत: शुचि:।
गृहे वा शुद्धभावेन प्रीता भगवती सदा॥6॥श्री दुर्गा स्तुति पाठ PDF | Durga Stuti PDF in Hindiमहर्षि व्यास द्वारा लिखा गया मां दुर्गा का यह स्त्रोत कल्याणकारी है। इसका पाठ करने से मनुष्य हर संकट से दूर रहता है मां भगवती की कृपा हमेशा बनी रहती है।नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक कर के आप Durga Stuti PDF in Hindi / श्री दुर्गा स्तुति पाठ PDF मुफ्त में डाउनलोड कर सकते है।#शर #दरग #सतत #पठ #Durga #Stuti #PDF #HindiThe post श्री दुर्गा स्तुति पाठ | Durga Stuti PDF in Hindi appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली | Durga Ashtottara Shatanamavali PDF in Hindi
श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली | Durga Ashtottara Shatanamavali PDF Details<a href="https://pdffile.co.in/wp-content/uploads/pdf-thumbnails/2021/10/small/durga-ashtottara-shatanamavali-815.jpg">श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली | Durga Ashtottara Shatanamavali</a>PDF Name<b>श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली | Durga Ashtottara Shatanamavali PDF</b>No. of Pages<b>4</b>PDF Size<b>0.07 MB</b>Language<b>Hindi</b>Category<a href="https://pdffile.co.in/category/religion-spirituality/">Religion & Spirituality</a>Download LinkAvailable <a href="https://s.w.org/images/core/emoji/13.1.0/72x72/2714.png"></a>Downloads26
श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली | Durga Ashtottara Shatanamavali Hindi PDF Summaryदोस्तों आज हम आपके लिए लेकर आये हैं Durga Ashtottara Shatanamavali PDF in Hindi / श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली PDF जिसमे आपको माँ दुर्गा के सारे नाम पढ़ने को मिलेंगे। हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार दुर्गा अष्टोत्तर सता नामावली का नियमित जप देवी दुर्गा को प्रसन्न करने और उनका आशीर्वाद प्राप्त करने का सबसे शक्तिशाली तरीका है। सर्वोत्तम परिणाम प्राप्त करने के लिए आपको देवी दुर्गा की मूर्ति या तस्वीर के सामने स्नान करने के बाद सुबह जल्दी दुर्गा अष्टोत्तर सता नामावली का पाठ करना चाहिए। इसके प्रभाव को अधिकतम करने के लिए आपको सबसे पहले दुर्गा अष्टोत्तर सता नामावली का मतलब हिंदी में समझना चाहिए।दुर्गा अष्टोत्तर सता नामावली का नियमित पाठ करने से मन को शांति मिलती है और आपके जीवन से सभी बुराई दूर होती है और आप स्वस्थ, धनवान और समृद्ध बनते हैं।श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली PDF | Durga Ashtottara Shatanamavali PDF in Hindiॐ दुर्गायै नमः
ॐ शिवायै नमः
ॐ महालक्ष्म्यै नमः
ॐ महागौर्यै नमः
ॐ चण्डिकायै नमः
ॐ सर्वज्ञायै नमः
ॐ सर्वालोकेश्यै नमः
ॐ सर्वकर्म फलप्रदायै नमः
ॐ सर्वतीर्ध मयायै नमः
ॐ पुण्यायै नमः ॥10॥
ॐ देव योनये नमः
ॐ अयोनिजायै नमः
ॐ भूमिजायै नमः
ॐ निर्गुणायै नमः
ॐ आधारशक्त्यै नमः
ॐ अनीश्वर्यै नमः
ॐ निर्गुणायै नमः
ॐ निरहङ्कारायै नमः
ॐ सर्वगर्वविमर्दिन्यै नमः
ॐ सर्वलोकप्रियायै नमः ॥20॥
ॐ वाण्यै नमः
ॐ सर्वविध्यादि देवतायै नमः
ॐ पार्वत्यै नमः
ॐ देवमात्रे नमः
ॐ वनीश्यै नमः
ॐ विन्ध्य वासिन्यै नमः
ॐ तेजोवत्यै नमः
ॐ महामात्रे नमः
ॐ कोटिसूर्य समप्रभायै नमः
ॐ देवतायै नमः ॥30॥
ॐ वह्निरूपायै नमः
ॐ सतेजसे नमः
ॐ वर्णरूपिण्यै नमः
ॐ गुणाश्रयायै नमः
ॐ गुणमध्यायै नमः
ॐ गुणत्रयविवर्जितायै नमः
ॐ कर्मज्ञान प्रदायै नमः
ॐ कान्तायै नमः
ॐ सर्वसंहार कारिण्यै नमः
ॐ धर्मज्ञानायै नमः ॥40॥
ॐ धर्मनिष्टायै नमः
ॐ सर्वकर्मविवर्जितायै नमः
ॐ कामाक्ष्यै नमः
ॐ कामासंहन्त्र्यै नमः
ॐ कामक्रोध विवर्जितायै नमः
ॐ शाङ्कर्यै नमः
ॐ शाम्भव्यै नमः
ॐ शान्तायै नमः
ॐ चन्द्रसुर्याग्निलोचनायै नमः
ॐ सुजयायै नमः ॥50॥
ॐ जयायै नमः
ॐ भूमिष्ठायै नमः
ॐ जाह्नव्यै नमः
ॐ जनपूजितायै नमः
ॐ शास्त्रायै नमः
ॐ शास्त्रमयायै नमः
ॐ नित्यायै नमः
ॐ शुभायै नमः
ॐ चन्द्रार्धमस्तकायै नमः
ॐ भारत्यै नमः ॥60॥
ॐ भ्रामर्यै नमः
ॐ कल्पायै नमः
ॐ कराल्यै नमः
ॐ कृष्ण पिङ्गलायै नमः
ॐ ब्राह्म्यै नमः
ॐ नारायण्यै नमः
ॐ रौद्र्यै नमः
ॐ चन्द्रामृत परिवृतायै नमः
ॐ ज्येष्ठायै नमः
ॐ इन्दिरायै नमः ॥70॥
ॐ महामायायै नमः
ॐ जगत्सृष्ट्याधिकारिण्यै नमः
ॐ ब्रह्माण्ड कोटि संस्थानायै नमः
ॐ कामिन्यै नमः
ॐ कमलालयायै नमः
ॐ कात्यायन्यै नमः
ॐ कलातीतायै नमः
ॐ कालसंहारकारिण्यै नमः
ॐ योगानिष्ठायै नमः
ॐ योगिगम्यायै नमः ॥80॥
ॐ योगध्येयायै नमः
ॐ तपस्विन्यै नमः
ॐ ज्ञानरूपायै नमः
ॐ निराकारायै नमः
ॐ भक्ताभीष्ट फलप्रदायै नमः
ॐ भूतात्मिकायै नमः
ॐ भूतमात्रे नमः
ॐ भूतेश्यै नमः
ॐ भूतधारिण्यै नमः
ॐ स्वधानारी मध्यगतायै नमः ॥90॥
ॐ षडाधाराधि वर्धिन्यै नमः
ॐ मोहितायै नमः
ॐ अंशुभवायै नमः
ॐ शुभ्रायै नमः
ॐ सूक्ष्मायै नमः
ॐ मात्रायै नमः
ॐ निरालसायै नमः
ॐ निमग्नायै नमः
ॐ नीलसङ्काशायै नमः
ॐ नित्यानन्दिन्यै नमः ॥100॥
ॐ हरायै नमः
ॐ परायै नमः
ॐ सर्वज्ञानप्रदायै नमः
ॐ अनन्तायै नमः
ॐ सत्यायै नमः
ॐ दुर्लभ रूपिण्यै नमः
ॐ सरस्वत्यै नमः
ॐ सर्वगतायै नमः
ॐ सर्वाभीष्टप्रदायिन्यै नमः ॥ 108 ॥<strong>नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक कर के आप Durga Ashtottara Shatanamavali PDF in Hindi / श्री दुर्गा अष्टोत्तर शतनामावली PDF मुफ्त में डाउनलोड कर सकते है।</strong>#शर #दरग #अषटततर #शतनमवल #Durga #Ashtottara #Shatanamavali #PDF #HindiThe post <a href="https://www.ebookmela.co.in/download/%e0%a4%b6%e0%a5%8d%e0%a4%b0%e0%a5%80-%e0%a4%a6%e0%a5%81%e0%a4%b0%e0%a5%8d%e0%a4%97%e0%a4%be-%e0%
गीता प्रेस गोरखपुर दुर्गा सप्तशती | Durga Saptashati Gita Press Gorakhpur PDF
गीता प्रेस गोरखपुर दुर्गा सप्तशती | Durga Saptashati Gita Press Gorakhpur PDF Detailsगीता प्रेस गोरखपुर दुर्गा सप्तशती | Durga Saptashati Gita Press GorakhpurPDF Nameगीता प्रेस गोरखपुर दुर्गा सप्तशती | Durga Saptashati Gita Press Gorakhpur PDFNo. of Pages240PDF Size0.59 MBLanguageEnglishCategoryReligion & SpiritualityAvailable ataranyadevi.comDownload LinkAvailable Downloads26
गीता प्रेस गोरखपुर दुर्गा सप्तशती | Durga Saptashati Gita Press Gorakhpur PDF Summaryदोस्तों आज हम आपके लिए लेकर आएं हैं Durga Saptashati Gita Press Gorakhpur Hindi PDF / गीता प्रेस गोरखपुर दुर्गा सप्तशती हिंदी पीडीएफ जिसमे आपको माँ दुर्गा आरती पीडीएफ, दुर्गा पूजा विधि, आदि चीज़े पढ़ने को मिलेंगी। दुर्गासप्तशती पाठ सात सौ श्लोकों को एकत्रित करके बनाया गया एक देवी उपासना ग्रंथ है जिसके रोजाना पाठ करने से माँ दुर्गा आपके सारे दुखों को दूर करके उनके जीवन को सुख और समृद्धि से भर देती है। यह सप्तशती पाठ माँ दुर्गा को प्रसन्न करने के लिए उनके भगतों द्वारा किया जाता है। इस पोस्ट में हमने आपके लिए Durga Saptashati Gita Press Gorakhpur Hindi PDF / गीता प्रेस गोरखपुर दुर्गा सप्तशती Hindi PDF डाउनलोड करने के लिए डायरेक्ट लिंक भी दिया हैं।Durga Saptashati Gita Press Gorakhpur Hindi PDF | गीता प्रेस गोरखपुर दुर्गा सप्तशती PDFमार्कंडेय पुराण में इसी देवी चंडी का माहात्म्य बताया है। उसमें देवी के विविध रूपों एवं पराक्रमों का विस्तार से वर्णन किया गया है। इसमें से सात सौ श्लोक एकत्रित कर देवी उपासना के लिए ‘श्री दुर्गासप्तशती’ नामक ग्रंथ बनाया गया है। सुख, लाभ, जय इत्यादि कामनाओं की पूर्ति के लिए सप्तशती पाठ करने का महत्त्व बताया गया है।शारदीय नवरात्रि में श्री दुर्गासप्तशती पाठ विशेष रूप से करते हैं। कुछ घरों में पाठ करने की कुलपरंपरा ही है। पाठ करनेके उपरांत हवन भी किया जाता है । इस पूरे विधान को ‘चंडी विधान’ कहते हैं। संख्या के अनुसार नवचंडी, शतचंडी, सहस्रचंडी, लक्षचंडी ऐसे चंडी विधान बताए गए हैं। प्राय: लोग नवरात्रि के नौ दिनों में प्रतिदिन एक-एक पाठ करते हैं।नवरात्रि में यथाशक्ति श्री दुर्गासप्तशती पाठ करते हैं। पाठ के उपरांत पोथी पर फूल अर्पित करते हैं। उसके उपरांत पोथी की आरती करते हैं।श्री दुर्गासप्तशती पाठ में देवी मां के विविध रूपों को वंदन किया गया है।नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक कर के आप Durga Saptashati Gita Press Gorakhpur Hindi PDF / गीता प्रेस गोरखपुर दुर्गा सप्तशती हिंदी PDF डाउनलोड कर सकते हैं।#गत #परस #गरखपर #दरग #सपतशत #Durga #Saptashati #Gita #Press #Gorakhpur #PDFThe post गीता प्रेस गोरखपुर दुर्गा सप्तशती | Durga Saptashati Gita Press Gorakhpur PDF appeared first on eBookmela. upload by pdfDON

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